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बिहार में कांग्रेस की हार: क्या राष्ट्रीय स्तर पर गठबंधन की चुनौतियाँ बढ़ेंगी? Congress National Politics Contemplation
बिहार से चाचा का धमाका की रिपोर्ट के अनुसार, राष्ट्रीय राजनीति में कांग्रेस की स्थिति को लेकर गहन चिंतन का दौर जारी है।
हाल ही में संपन्न बिहार विधानसभा चुनावों में पार्टी के निराशाजनक प्रदर्शन के बाद, कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी ने एक महत्वपूर्ण बैठक की, जिसका उद्देश्य हार के कारणों का विस्तृत विश्लेषण करना था।
इस बैठक में कांग्रेस महासचिव केसी वेणुगोपाल भी शामिल हुए, जहाँ पार्टी मुख्यालय 'इंदिरा भवन' में भविष्य की रणनीति पर गहन विचार-विमर्श किया गया।
कांग्रेस ने बिहार चुनावों में 60 सीटों पर चुनाव लड़ा था, लेकिन केवल छह पर ही जीत दर्ज कर पाई, जबकि उसका वोट प्रतिशत 10 प्रतिशत से भी कम रहा, जो महागठबंधन के लिए एक बड़ा झटका साबित हुआ।
यह प्रदर्शन देश की सबसे पुरानी पार्टी के लिए चिंताजनक संकेत है।
महागठबंधन के सबसे बड़े घटक राष्ट्रीय जनता दल (राजद) का प्रदर्शन भी अपेक्षा के अनुरूप नहीं रहा; उन्होंने 143 सीटों में से केवल 25 सीटें जीतीं।
इसके विपरीत, एनडीए ने 2025 के बिहार विधानसभा चुनावों में ऐतिहासिक प्रचंड जीत दर्ज की, जिसमें 243 में से 202 सीटें हासिल कीं, जबकि महागठबंधन को केवल 35 सीटें ही मिलीं।
इस प्रकार, सत्तारूढ़ गठबंधन ने 243 सदस्यीय बिहार विधानसभा में तीन-चौथाई बहुमत प्राप्त कर मजबूत सरकार बनाई।
इस हार ने न केवल बिहार में, बल्कि पूरे भारत में विपक्षी एकता और आगामी चुनावों में गठबंधन की संभावनाओं पर भी गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं।
खड़गे और राहुल गांधी की यह बैठक दर्शाती है कि पार्टी इस चुनौती को गंभीरता से ले रही है और भविष्य के लिए एक सुदृढ़ योजना बनाने का प्रयास कर रही है ताकि राष्ट्रीय पटल पर अपनी स्थिति को मजबूत किया जा सके।
- कांग्रेस ने बिहार चुनाव में 60 में से केवल 6 सीटें जीतीं, वोट शेयर 10% से कम।
- खड़गे, राहुल गांधी ने हार की समीक्षा के लिए महत्वपूर्ण बैठक की।
- एनडीए ने बिहार में 202 सीटें जीतकर प्रचंड बहुमत प्राप्त किया।
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Posted on 28 November 2025 | Stay updated with चाचा का धमाका.com for more news.